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Rhymes of Bharat
हरि बोल हरि बोल ...
हरि बोल, हरि बोल...
मुख को खोल, मुख को खोल।
करते कीर्तन, बजता ढोल,
बजता खोल, बजता ढोल।
हरि बोल, हरि बोल...
मानव जीवन है अनमोल,
है अनमोल, है अनमोल।
हरि बोल, हरि बोल...
सत्य ही बोल, वचन को तोल,
वचन को तोल, वचन को तोल।
हरि बोल, हरि बोल...
क्यों हो चुप? है मुँह क्यों गोल?
मुँह क्यों गोल? मुँह क्यों गोल?
हरि बोल, हरि बोल...
मुँह में लड्डू–मिश्री घोल,
खुल गयी पोल, खुल गयी पोल!
हरि बोल, हरि बोल...
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